रियासत काल में राजस्थान की तर्ज पर किया निर्माण, 225 साल बाद भी 4 मंजिला इस बावली की दो मंजिलें पानी में डूबी हैं

By Anand

TRENDING  | 10/06/2019

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KAWARDHA:

रियासत काल में यहां राजस्थान की तर्ज पर बावली बना है। 225 साल बाद भी चार मंजिला इस बावली का दो मंजिला पानी में डूबा हुआ है। इसके बावजूद पानी का प्रभाव इनके कमरों पर नहीं पड़ता।

बहुकोणीय आकृति में बने इस बावली में 8 कमरे हैं, जहां रियासती दौर में राजा- रानी विश्राम किया करते थे। स्थानीय लोगों ने इस बावली को कभी सूखते हुए नहीं देखा। निर्माण के समय जलस्रोतों का अध्ययन करने के बाद यहां खोदाई कर बावली बनवाया गया था। इसमें आज भी पानी मौजूद है। पुराने समय में बावली के पानी का उपयोग सिंचाई, पेयजल और फव्वारों में किया जाता था। आज भी इसके पानी का उपयोग सिंचाई में होता है।

राजमहल के पास मौजूद बावली खंडहर में तब्दील : राजमहल के पास एक अन्य बावली मौजूद है, जिसे रानी बावली के नाम से जानते हैं। देखरेख के अभाव में यह बावली उजाड़ हो चुका है। 

राजघराने के खड्गराज सिंह इस बावली को संरक्षित करने के लिए प्रयासरत हैं।

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